‘भ्रष्टाचार’ पर कांग्रेस नेताओं को ‘घेरने’ में जुटी भाजपा
गणेश को कांग्रेस का ‘हाथ’ तो आर्य़ ‘अकेले’ !
गोदियाल पर मंदिर समिति में गड़बड़ी का आरोप
यशपाल तक पहुंची छात्रवृत्ति घोटाले की ‘आंच’ !
गणेश के पक्ष में एकजुट कांग्रेस की प्रेस कांफ्रेस
नेता प्रतिपक्ष नहीं हुए इस कांफ्रेंस में शामिल
देहरादून। उत्तराखंड भाजपा इन दिनों कांग्रेस के दिग्गजों को भ्रष्टाचार के मुद्दे पर घेरने में जुटी है। अहम बात यह है कि एक दिग्गज गणेश गोदियाल के पक्ष में तो पूरी प्रदेश कांग्रेस खड़ी दिख रही है तो भाजपा के निशाने पर आए दूसरे दिग्गज नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य अकेले से पड़ते दिख रहे हैं। सवाल यह है कि कांग्रेस ने आर्य को अकेला छोड़ दिया है या फिर उन पर लगे आरोपों को पार्टी ने गंभीरता से नहीं लिया है।
पहले बात पूर्व अध्यक्ष गणेश गोदियाल की। गणेश 2012 से 2017 तक बदरी केदार मंदिर समिति के अध्यक्ष रहे हैं। समिति के एक सदस्य आशुतोष डिमरी ने उन पर समिति में गड़बड़ी के आरोप लगाते हुए काबीना मंत्री धन सिंह रावत को एक खत लिखा। चुनावी सियासत में एक-दूसरे के प्रतिद्वंदी रहे धन सिंह ने गणेश की जांच के लिए मुख्य सचिव को खत लिख दिया। इससे पूरी कांग्रेस में हलचल है।
विगत दिवस कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा, पूर्व सीएम हरीश रावत समेत कई दिग्गज एकसाथ मंच पर आए और प्रेस कांफ्रेंस में गोदियाल के पक्ष में धनसिंह रावत पर तीखे हमले किए। कांग्रेसी नेताओं ने कहा कि वे गोदियाल पर लगे आरोपों की जांच को तैयार हैं। लेकिन मंत्री धनसिंह पर लगे आरोपों की भी जांच उनके साथ ही कराई जाए। मंच पर पूरी कांग्रेस गणेश गोदियाल के साथ दिखाई दी।
दूसरी ओर भाजपा नेता रवींद्र जुगरान ने नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य को छात्रवृत्ति घोटाले में खींचने की कोशिश की है। जुगरान का कहना है कि 500 करोड़ के अधिक के इस घोटाले को बतौर समाज कल्याण मंत्री य़शपाल आर्य का पूरा संरक्षण था। इसके साक्ष्य एकत्र किए जा रहे हैं और इस मामले में नैनीताल हाईकोर्ट में चल रहे मुकदमे में आर्य़ को भी पक्ष बनाया जाएगा।
इतना गंभीर आरोप होने के बाद भी न तो नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने इस पर कोई टिप्पणी की और न ही कांग्रेस का कोई नेता उनके पक्ष में खड़ा हुआ। ऐसे में सवाल यह खड़ा हो रहा है कि भाजपा के हमलों पर भी क्या कांग्रेस की आपस की रार का असर दिख रहा है और इसी वजह से आर्य को उनके हाल पर छोड़ दिया गया है।
बहरहाल, भाजपा और कांग्रेस के बीच भ्रष्टाचार के मुद्दे पर चल रही सियासी जंग किस मुकाम पर पहुंचती है, यह तो आने वाला समय ही साफ करेगा। पर इतना अभी दिख रहा है कि एक तरफ पूरी कांग्रेस गणेश गोदियाल के साथ है तो नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य अकेले पड़ गए हैं।