उत्तराखंड

गैरसैंण में बजट सत्र के दूसरे दिन हंगामा जारी रहा विपक्ष ने किया नियम 310 चर्चा की मांग

उत्तराखंड:  गैरसैंण में बजट सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को कार्यवाही सुबह 11 बजे से शुरू हो गई। सदन में आर्थिक सर्वेक्षण 2022-23 पेश किया गया। मंगलवार को सत्र हंगामेदार रहा। विपक्ष ने बेरोजगारी का मुद्दा उठाया। विपक्ष ने नियम 310 में चर्चा की मांग की। जिसके बाद पीठ ने नियम 58 में सुनने की स्वीकृति दी और प्रश्नकाल शुरू हुआ।

वहीं विशेषाधिकार हनन के मामला निरस्त करने पर विपक्ष ने सत्र में हंगामा कर दिया। विपक्ष के विधायक विस सचिव की टेबल पर चढ़ गए। जिस पर कार्रवाई करते हुए विस अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी भूषण ने सभी कांग्रेसी विधायकों को दिन भरने लिए निलंबित करने के आदेश दिए।

विशेषाधिकार हनन के मामले में विपक्षी विधायक लगातार हंगामा करते रहे। इस दौरान कांग्रेस विधायकों ने कागज के गोले बनाकर पीठ की तरफ फेंके। हंगामे के कारण सदन की कार्यवाही दोपहर तीन बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई।

दोपहर तीन बजे बाद दोबारा सदन की कार्यवाही शुरू हुई। इस दौरान निलंबन के बावजूद कांग्रेस विधायक सदन में पहुंच गए। विधायकों के साथ बसपा विधायक और निर्दलीय विधायक भी वेल पर आ गए। विधायक विनोद चमोली ने राज्यपाल के अभिभाषण धन्यवाद प्रस्ताव रखा। वहीं विपक्ष के विधायकों के हंगामे के बीच कांग्रेस विधायक मदन बिष्ट ने सदन में माइक तोड़ दिया। जिसके बाद विधानसभा अध्‍यक्ष ऋतु खंडूड़ी भूषण सदन छोड़ कर चली गईं।

प्रश्नकाल और शून्य काल में विपक्ष सरकार को प्रश्नों के माध्यम से घेरने का प्रयास कर रहा है। ऐसे में मंत्रियों का इन प्रश्नों के जवाब देने के लिए किया गया होमवर्क ही उनके कार्य को दर्शाएगा। बीते विधानसभा सत्रों में मंत्री अमूमन अधूरे होमवर्क के कारण निशाने पर रहते हैं। इसलिए इस बार सरकार ने सभी मंत्रियों को सभी प्रश्नों की पूरी तैयारी करने के साथ आने को कहा गया।

सत्र के दूसरे दिन भी कांग्रेस के विधायक विधानसभा के बाहर धरने पर बैठ गए। गन्ना किसानों की मांगों को लेकर कांग्रेस विधायक प्रदर्शन कर रहे हैं। विपक्षी विधायक गन्ने का समर्थन मूल्य बढ़ाने की मांग कर रहे हैं। इस दौरान विधायक गन्‍ने को लेकर पहुंचे।

बजट सत्र के दौरान मंगलवार को नकलरोधी अध्यादेश व महिला आरक्षण विधेयक प्रस्तुत किया जाना प्रस्तावित है। इस मसले पर विपक्ष सरकार को घेरने का प्रयास करेगा। विशेष रूप से नकल रोधी अध्यादेश में अफवाह फैलाने पर दंडित किए जाने जैसे बिंदुओं पर विपक्ष मुखर है।

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