सुप्रीम कोर्ट पहुंचा हल्द्वानी में रेलवे जमीन पर अतिक्रमण का मामला

पांच जनवरी को हो सकती है सुनवाई
कांग्रेसी दिग्गज व वरिष्ठ अधिवक्ता खुर्शीद करेंगे पैरवी
हाईकोर्ट ने तत्काल ही पूरा अतिक्रमण हटाने को कहा
प्रशासन की 10 जनवरी से अतिक्रमण हटाने की तैयारी
यहां बसे लोगों को विपक्षी दलों के समर्थन की चर्चा तेज
हल्द्वानी। शहर में गफूर बस्ती से रेलवे की जमीन से अतिक्रमण हटाने का मामला अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है। प्रशासन और रेलवे ने नैनीताल हाईकोर्ट के आदेश पर 10 जनवरी से पूरा अतिक्रमण हटाने की तैयारियां पूरी कर लीं है। इसका भारी विरोध हो रहा है।
हाईकोर्ट ने इस जमीन ने अतिक्रमण हटाने का आदेश दिया है। इसका भारी विरोध हो रहा है। इस विरोध को देखते हुए जिला प्रशासन ने कुछ निर्माण गिराने के बाद अभियान रोक दिया था। अब 10 जनवरी से भारी पुलिस बल व अन्य तमाम संसाधनों के साथ अतिक्रमण हटाया जाएगा।
अब ये मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है। हल्द्वानी से कांग्रेस विधायक सुमित हृदयेश और उनके साथ दस अन्य लोग,अतिक्रमण को हटाने पर रोक लगाने और काबिज लोगो को कहीं और बसाने के लिए सुप्रीम कोर्ट की मदद ली है। वरिष्ठ अधिवक्ता और कांग्रेसी दिग्गज सलमान खुर्शीद ने इस मामले में एक याचिका दाखिल की है। फिलवक्त सुप्रीम कोर्ट बंद पर पर इस याचिका को सुनवाई के लिए पांच जनवरी के लिए सूचीबद्ध कर लिया गया है।
यहां बता दें कि उत्तराखंड में कांग्रेस विपक्ष में है और चर्चा है कि इस जमीन पर काबिज लोगो को हमेशा से कांग्रेस और समाजवादी पार्टी का संरक्षण मिलता रहा है। चर्चा इस बात की भी तेज हो कि काबिज लोगों में बीजेपी का भय दिखाकर विपक्षी वोट भी लेते रहे है। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने भी बयान दिया है कि राज्य सरकार इनके पुनर्वास के लिए कुछ नहीं कर रही है।