कोरोना खतराः एक माह में दो गुने एक्टिव केस
सावधानः बेड फुल, डॉक्टर और चले स्टाफ आंदोलन की राह पर
सच होती दिख रही सीएम त्रिवेंद्र की आशंका
सरकार से और भी एहितयाती कदम की अपील
देहरादून। सब कुछ ओपन होने के इस दौर में उत्तराखंड में कोरोना संकट गहराता दिख रहा है। पिछले एक माह में एक्टिव केसों की संख्या दो गुनी हो चुकी है। यही रफ्तार रही तो सितंबर के अंत कोरोना संक्रमितों की संख्या 40 हजार का आंकड़ा पार सकती है। सामाजिक संस्था ने सरकार ने और भी एहितयाती कदम उठाने की अपील की है। साथ ही अवाम से भी जागरूक रहने को कहा है।
गैर सरकारी संगठन सोशल डेवलपमेंट फॉर कम्युनिटी फॉउंडेशन की ओर से कोरोना पर जारी होने वाले सरकारी बुलेटिन की समीक्षा करके एक आने वाले संकट पर एक ट्वीट किया गया है। संगठन के मुखिया अनूप नौटियाल ने अपने ट्विट में उत्तराखंड में आ रहे कोरोना के गंभीर संकट की ओर इशारा किया है। अनूप लिखते हैं कि संक्रमितों की संख्या के साथ एक्टिव केसों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है। अनूप के इस ट्विट के अनुसार दो अगस्त को उत्तराखंड में कोरोना के एक्टिव मामलों की संख्या महज 3032 ही थी। दो सितंबर को यह संख्या 6442 हो चुकी है। संस्था ने इस पर गहरी चिंता जाहिर की है।
अनूप अपने ट्विट में लिखते हैं कि एक तरफ एक्टिव केस इस तरह की तेजी से बढ़ रहे हैं तो दूसरी ओर हालात खराब हैं। अस्पतालों में बेड फुल हो चुके हैं, उत्तराखंड के डॉक्टर और अन्य स्टाफ काम करते हुए ही आंदोलन की राह पर हैं। आम आदमी थक का चुका है। साथ ही आर्थिक हालात भी ठीक नहीं कहे जा सकते। ऐसे में आसन्न खतरे को देखते हुए नए और जरूरी कदम उठाने की जरूरत है।
यहां बता दें कि संस्था के आंकड़ों के अनुसार पिछले एक सप्ताह में कोरोना संक्रमितों के 1693 नए एक्टिव केस सामने आए हैं। इससे पहले मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत मई माह में ही कह चुके हैं कि उत्तराखंड में कोरोना संक्रमितों की संख्या 25000 के पार जाएगी। इनमें से पांच हजार लोगों को अस्पताल में भर्ती करना होगा और 500 से अधिक लोगों को वेंटिलेटर की जरूरत होगी। सीएम ने उसी रोज दावा किया था कि इसी आशंका के मद्देनजर सरकार ने तमाम जरूरी इंतजामात कर लिए हैं।